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Basic ICT Skills and Shortcut Keys of Computer in Hindi

Basic ICT Skills and Shortcut Keys of Computer in Hindi

कंप्यूटर आज की दुनिया में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। बिना कम्प्यूटर के ये संसार बिल्कुल अधूरा सा दिखाई देता है। 
मेरा इस पोस्ट को लिखने का उद्देश्य उन लोगों की मदद करना है जो विभिन्न प्रकार की एप्लिकेशन के लिए Basic ICT Skills and Shortcut Keys को सीखना चाहते हैं, जो कम्प्यूटर के काम को बहुत ही आसान बना सकती है। 

यह पोस्ट MS-Office (Word, Excel, and PowerPoint), Adobe Photoshop, Adobe PageMaker, Corel PaintShop Pro, Corel Draw, Chrome Browser and Typing Skill पर आधारित है, जिससे किसी भी सॉफ्टवेयर और कम्प्यूटर कों चलाने में बहुत ही आसानी हो जाएगी।
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Information Technology की सुविधा के आधार पर, इन टेक्नोलॉजी के दिनों में मैने देखा कि हर एक व्यक्ति चाहे वो स्कूल से जुड़ा हो या किसी संस्था से, सभी लोग कम्प्यूटर का हिस्सा है, लेकिन मुख्य बात ये है कि वो लोग इस टेक्नोलॉजी की उस तरह से फायदा नहीं उठा पा रहे जैसे कि उन्हें उठाना चाहिए। 

ये विचार मेरे दिमाग में जब आया जब मैने एक कम्प्यूटर लैब में दो बच्चो को एक टास्क पुरा करते देखा। जिसमे से एक बच्चा साधरण तरीके से काम कर रहा था, और दूसरा बच्चा शॉर्टकट key से फास्ट काम कर रहा था। 

तब मैने इस पोस्ट को लिखने का सोचा, जिससे की Present और फ्यूचर की समस्याओं का समाधान हो सकें।

मै उस स्टूडेंट का बहुत आभारी हूं जिसको देखकर मुझे इस पोस्ट को लिखने का आईडिया आया।

मुझे पुरा विश्वास है, कि इस पोस्ट की सीरीज आपके कीबोर्ड शॉर्टकट्स के साथ कम्प्यूटर सॉफ्टवेयर को इस्तेमाल करने में कीमती समय को बचाएगी, और आपको कंप्यूटर व information Technology के फील्ड में एक्सपर्ट जरूर बना देगी। 

Content in Post Series

  1. Introduction to Computer 
  2. Operating System
  3. Windows 10 Shortcut Keys
  4. MS-Word Shortcut Keys
  5. MS-Excel Shortcut Keys
  6. MS-PowerPoint Shortcut Keys
  7. Adobe Photoshop Shortcut Keys
  8. Corel PaintShop Pro Shortcut Keys
  9. Adobe Page Maker Shortcut Keys
  10. CorelDRAW Shortcut Keys
  11. Google Chrome Shortcut Keys
  12. Windows Generation (Year wise)
  13. Tips to Improve Performance in Windows 10
  14. Hidden Features of Windows 10
  15. Keyboard Tricks to Save Time Every Day
  16. How to Make Symbols with Keyboard
  17. Facts about Passwords That Will Make
  18. You THINK 
  19. Typing Skills
  20. Video Conferencing App
  21. Full Forms
इस सीरीज में कुल 21 चेप्टर है। मै हर एक चेप्टर पर एक पोस्ट लिखूंगा और उसका लिंक आपको यही पर मिल जाएगा। जिससे आप किसी भी चेप्टर पर डायरेक्ट पहुच सकते हैं।

तो कंप्युटर में एक्सपर्ट बनने के लिए हमारे ब्लॉग से जुड़े रहें और अपडेट रहें। जैसी अगली पोस्ट आएगी तो आपको पता चल जाएगा।
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Types of Memory in Computer

Types of Memory in Computer

मेमोरी कंप्यूटर का सबसे अच्छा आवश्यक तत्व है क्योंकि कंप्यूटर सरल कार्य नहीं कर सकता। का प्रदर्शन कंप्यूटर मुख्य रूप से मेमोरी और सीपीयू पर आधारित होता है। मेमोरी है कंप्यूटर का इंटरनल स्टोरेज मीडिया जिसके कई नाम होते हैं जैसे प्रमुख रूप से दो प्रकारों में वर्गीकृत। मुख्य स्मृति और सेकेंडरी मेमोरी।

Primary Memory/Main Memory

प्राइमरी मेमोरी, इसे मेन मेमोरी भी कहा जाता है। यह Volatile Memory है। यह कंप्यूटर के महत्वपूर्ण भागों में से एक है, क्योंकि मेमोरी का आकार कार्यक्रमों की लंबाई और संख्या निर्धारित करता है।
जिसे एक बार में स्टोर किया जा सकता है। इसका आकार डेटा की राशि को भी दर्शाता है, जो जल्दी से संसाधित किया जा सकता है। 
  • प्राथमिक मेमोरी केवल वही डेटा और निर्देश रखती है जिस पर कंप्यूटर वर्तमान में काम कर रहा है। यह डेटा को परमानेंट स्टोर नहीं करतीं है।
  • यह ऑपरेटिंग सिस्टम और आवश्यक डेटा को भी स्टोर करती है।
  • यह एक सीमित क्षमता की मेमोरी है, और डेटा या सूचना को लाइट बंद हों जाने पर lost कर देती है। 
  • इसमें सभी डेटा और निर्देश शामिल होते हैं जिन्हें संसाधित करने की आवश्यकता है। 
यह मेमोरी दो प्रकार की होती है।
1. RAM (Random Access Memory)
2. ROM (Read Only Memory)

RAM (Random Access Memory)

Random Selection के कारण यह रैंडम एक्सेस मेमोरी होती है। यह मेमोरी पर ऑपरेशन पढ़ने और लिखने दोनों का प्रदर्शन करता है।  

इसमें डेटा और निर्देशों को प्राइमरी मेमोरी के अंदर अस्थायी रूप से संग्रहीत किया जाता है। वे RAM से गायब हो जाते हैं जैसे ही कंप्यूटर की बिजली बंद हो जाती है।

ROM (Read Only Memory)


ROM को Read Only Memory कहा जाता है। यह Integrated Circuit से बनी हुई परमानेंट मेमोरी होती है। Power Supply के बंद हों जाने पर भी यह अपने डेटा और निर्देशो को लोस्ट नही करती है।

ROM को केवल CPU ही पढ़ सकता है, और CPU इसके डेटा और निर्देशो को बदल नही सकता हैं।

बेसिक इनपुट/आउटपुट प्रोग्राम को ROM में स्टोर किया जाता है। तरह तरह के Equipment को चलाने के लिए इसके द्वारा ही निर्देष दिया जाता हैं। 

ROM उन सभी डेटा प्रोग्राम और निर्देशो को परमानेंट स्टोर करके रखती है जिसकी जरूरत कम्प्यूटर को यूजर के प्रोग्राम को चलाने के लिए पड़ती है।
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What is Memory in Computer and Memory Organization

What is Memory in Computer

Computer के बारे में आजकल हर कोई जानता है, क्योंकि आज के जमाने में मनुष्य की 50% से अधिक जिंदगी सिर्फ़ कंप्यूटर पर निर्भर हैं।

लेकिन क्या आप कंप्यूटर की मेमोरी के बारे में जानते है कि कंप्यूटर में मेमोरी क्या है? इसके बारे में बहुत ही कम लोग जानते हैं। 
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तो आज की इस पोस्ट में हम जानेंगे कि कंप्यूटर में मेमोरी क्या है? और Memory Organization क्या है। 

What is Memory?

मेमोरी एक इलेक्ट्रॉनिक सर्किट होती है जो डेटा को स्टोर एवं प्रसारण करने की अनुमति देती है। 

मेमोरी 2 प्रकार की होती है। पहली मेमोरी प्राइमरी मेमोरी व दूसरी मेमोरी सेकंडरी मेमोरी होती है।  

प्राइमरी मेमोरी :- प्राइमरी मेमोरी कंप्यूटर के डेटा को प्रसारण करने का काम करती है।

सेकंडरी मेमोरी :- सैकंडरी मेमोरी कम्यूटर के डेटा को स्टोर करने का काम करती है। 


अगर कम्प्यूटर चालू है और अचानक से कंप्यूटर की लाइट बंद हों जाती है तो प्राइमरी मेमोरी अपने डेटा को खो देती है, जबकि सैकंडरी मेमोरी अपने डेटा को स्टोर करके रखती हैं।

मेमोरी कंप्यूटर सिस्टम का एक अनिवार्य हिस्सा होता है। कंप्यूटर सिस्टम द्वारा निर्देशों को संग्रहीत करना आवश्यक  है।

Memory Organization in Computer

जैसे कि आपको उपर बताया गया है कि मेमोरी 2 प्रकार की होती हैं। प्राइमरी मेमोरी  और सैकंडरी मेमोरी। 

सैकंडरी मेमोरी दर्शाता है बाहरी सिस्टम को, जैसे डिस्क ड्राइव या टेप ड्राइव। 

जबकि प्राइमरी मेमोरी वास्तव में तेज अर्धचालक को दर्शाती है। प्राइमरी मेमोरी को RAM भी कहते हैं।  

प्राइमरी मेमोरी सीधे CPU से कनेक्ट होती है। जबकि सैकंडरी मेमोरी सीपीयू के बाहर होती है। 

Conclusion:- हमने आज की इस पोस्ट में आपको बताया है कि मेमोरी क्या होती है। बहुत मेहनत के बाद साधारण से साधारण तरीके से हमनें इस पोस्ट को लिखा है। 
हमें पुरा विश्वास है कि आपको ये पोस्ट बहुत ही पसंद आई होगी। पोस्ट को अपने दोस्तों के साथ जरूर शेयर करें।
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10 Hardware and Software Names

10 Hardware and Software Names

Hardware and software का नाम आपने बहुत बार सुना होगा। लेकीन हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर कौन कौन से होते है ये शायद आपको नही पता होगा। 

मेरा नाम दीपक कुमार है। मैं 2020 से Blogs और Websites पर काम कर रहा हूं। आज मैं आपको 10 Hardware and Software के नाम बताने वाला हूं।

Hardware and Software, ये कंप्यूटर का ही पार्ट होते हैं। लेकीन हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर अलग अलग होते है। अगर आप जानना चाहते हैं कि हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर क्या होते है तो आप यहां क्लिक करके जान सकते हैं।
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तो आज कि इस पोस्ट में 10 हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर के नाम जानते है।

10 Hardware Names

हम नीचे आपको 10 हार्डवेयर के नाम देने जा रहे हैं। आप इन्हें ध्यान से पढ़े।

  1. Monitor
  2. Motherboard
  3. Main Memory
  4. Central Processing Unit (CPU)
  5. Main Memory Unit
  6. Power Supply Unit (CPU)
  7. Optical Disk Drive (ODD)
  8. Hard Disk Drive (HDD)
  9. Keyboard
  10. Mouse

10 Software Names

हम नीचे आपको 10 सॉफ्टवेयर के नाम देने जा रहे हैं। आप इन्हें ध्यान से पढ़े।
  1. Operating System
  2. Internet Browser
  3. MS Word
  4. MS Excel
  5. MS PowerPoint
  6. Turbo C++
  7. Net Beans
  8. MS Access
  9. Word Pad
  10. Note Pad

Conclusion:- तो आज की इस पोस्ट में आपने 10 Hardware and Software Names जाने। 

हमें पूरी उम्मीद है कि आपको इस पोस्ट से हेल्प जरूर मिली होगी। अगर आपको पोस्ट अच्छी लगी तो अपने दोस्तो को शेयर करें।
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Is it necessary to do computer course for maintaining business?

Is it necessary to do computer course for maintaining business?

Computer Course या कहें कि कंप्यूटर की जानकारी आज के जमाने में होना बहुत ही जरूरी है। लेकिन बिजनेस को चलाने के लिए कंप्यूटर कोर्स होना जरूरी है या नहीं, आज इस पोस्ट में जानते हैं।

मेरा नाम दीपक कुमार है। मैं 2020 से Blogs और Websites पर काम कर रहा हूं। आज मैं आपको बताने वाला हूं कि क्या किसी बिजनेस को चलाने के लिए कंप्यूटर कोर्स होना जरूरी है?

कंप्यूटर की जानकारी के बिना बिजनेस

ऐसे बहुत सारे बिजनेस होते है जिनमे कंप्यूटर की जानकारी का होना जरूरी नही होता। आप बिना कंप्यूटर की जानकारी के भी बहुत सारे बिजनेस को चला सकते हैं। 

इसके लिए आपको ऐसे ही बिजनेस को करना होगा जिसमें कोई चीज ऑनलाईन ना हो। या आपको उसमे बिलिंग ना करनी पड़ रही हो। 
अगर आप इस तरह के बिजनेस को करेंगे तो आपको किसी भी तरह के कंप्यूटर कोर्स की जानकारी की जरूरत नहीं होगी।

जैसे :- अगर आप एक छोटा सा किराना का दुकान चलाते हो तो इसमें आपको कंप्यूटर कोर्स करने की कोई जरूरत नही है। आप कच्चे बिल पर ही ग्राहक को सामान दे सकते हैं।

कंप्यूटर की जानकारी के बिजनेस

कुछ बिजनेस ऐसे भी होते है जिसमे आपको कंप्यूटर की जानकारी होना अति आवश्यक है। ऐसे बिजनेस को आप बिना कंप्यूटर कोर्स की जानकारी के बिल्कुल भी नही कर सकते। 

जैसे :- अगर आप कोई कस्टमर सर्विस सेंटर चलाना चाहते हो तो इसके लिए आपको कंप्यूटर की जानकारी होना बहुत ही जरूरी हैं। 

इसी के साथ आप कोई भी बिजनेस करते है जिसमे आपको ऑनलाईन की जरूरत पड़ती हैं, अगर आप अपनी बिजनेस की सभी चीजों को ख़ुद से हैंडल करते है तो आपको कंप्यूटर कोर्स करना चाहिए। 

Conclusion:- हमने इस पोस्ट में आपका ये सवाल हल किया है की आप कंप्यूटर की जानकारी के बिना किसी बिजनेस को कर सकते है या नही। 

तो फाइनली ऐसा जरूरी नही है कि आपको अपने बिजनेस को मेनटेन करने के लिए कंप्यूटर कोर्स करना जरूरी है  आप बग़ैर कंप्यूटर कोर्स के भी बहुत सारे बिजनेस कर सकते हैं।

हमें पूरी उम्मीद है कि ये पोस्ट आपको पसंद आई होगी। अगर पसंद आई हों तो अपने दोस्तो को जरूर शेयर करें।
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Power Consumption of Sony Digital Printer UP D897

Power consumption of Sony Digital Printer UP D897

क्या आप भी अपने घर या दुकान में Printer का इस्तेमाल करते हैं, लेकिन आपको भी नही पता कि आपका Printer कितनी Power Consumption करता है।

Sony Digital Printer UP D897 Printer कितनी Power Consumption करता है, ये आपको सबसे लास्ट में बताया जाएगा। इससे पहले आपको ये जानना जरूरी है की प्रिंटर Power Consume करता कैसे है।

Printer क्या है? ये तो सभी जानते हैं। अगर नहीं पता है तो लिंक पर क्लिक करके जान सकते हैं।

मेरा नाम दीपक कुमार है। मैं 2020 से Blogs और Websites पर काम कर रहा हूं। आज मैं आपको Printer के Power Consumption के बारे में बताने जा रहा हूं।

हमने Printer की Power Consumption के बारे में अपनी खुद की काफी रिसर्च करने के बाद इस पोस्ट को लिखा है। हमें पुरा विश्वास की इस पोस्ट में आपको आपके सवाल का जबाव मिल जाएगा।

Printers कितनी Power Consumption करते हैं?

Printer की Power Consumption आपके Printer के ऊपर निर्भर करती है। हर एक प्रिंटर की Power Consumption अलग अलग होती है।

Printer की Power Consumption को समझने के लिए आपको सबसे पहले ये देखना होगा कि वह प्रिंटर कितनी Ampare का है और कितने वोल्टेज पर चलता है।
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जैसी हमने उपर फोटो में दिखाया है कि यह HP का प्रिंटर 2.5 Amp का है और ये 240 Volt पर चलता है। तो आप इसी के आधार पर पता लगा सकते हैं। 

इसके लिए आपको प्रिंटर के वोल्टेज को प्रिंटर की Ampare से गुणा करनी होगी। 

जैसे:- वोल्टेज = 240, Amp = 2.5
240*2.5 = 600

तो ये प्रिंटर 600watt का Power Consumption करेगा। इस तरह आप किसी भी तरह के प्रिंटर की power Consumption निकाल सकते हैं।

Note:- उपर बताए गए Watt से ये मत समझना की ये हमेशा ही इतनी बिजली खपत करेगा। ऐसा बिल्कुल भी नहीं है। जानने के लिए नीचे पोस्ट को पढ़े।

Printer Power Consumption Savings Tips

Printer की Power Consumption को कम करने के कुछ टिप्स आपको नीचे बताए गए हैं। इन्हें ध्यान से पढ़े। 
  1. जब भी आपको प्रिंटर की ज्यादा जरूरत हो तो तभी इसको चालू करें। 
  2. प्रिंटर को एक बार चालू करने के बाद बार बार बंद और चालू न करें। 
  3. अगर आप प्रिंटर को बार बार बंद और चालू करते हैं तो इससे printer आपकी पॉवर को ज्यादा कंज्यूम करेगा। 
  4. जब आप प्रिंटर को चालू करते हैं तो वह शुरू में ज्यादा से ज्यादा Current लेता है और उसके बाद नोर्मल 4-5 watt पर ही चलता रहता है।
  5. इसलिए कोशिश करें की प्रिंटर को ज्यादा काम होने पर ही चालू करे और उसके बाद एक बार ही बंद करें।
तो अगर आप उपर बताए गए सभी स्टेप्स को फॉलो करेंगे तो Printer की Power Consumption को कम कर सकते हैं। 

Sony Digital Printer UP D897 Power Consumption

जैसे कि हमनें आपको उपर सब कुछ क्लियर कर दिया है। तो अब आप खुद से किसी भी प्रिंटर की Power Consumption को निकाल सकते हैं। 

Conclusion:- हमने इस पोस्ट में आपके सवाल का जवाब दे दिया है। हमें पुरा विश्वास है कि इस पोस्ट से आपको हेल्प मिली होगी। 

अगर पोस्ट अच्छी लगी है तो दोस्तो को शेयर करना ना भूलें।
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How to open and close computer system?

How to open and close computer system?

Computer को सीखने की इच्छा सभी की होती है, लेकिन बात आती है कि Computer System को Open and Close कैसे किया जाता है। आप में से शायद बहुत लोगो को पता होगा, लेकिन कुछ नए लोगो को नही पता होता है।

आप सभी को यह तो अच्छे से पता है कि कंप्यूटर क्या है? अगर किसी को नहीं पता तो आप इस लिंक पर क्लिक करके जान सकते हैं। What is Computer?

मेरा नाम दीपक कुमार है। मैं 2020 से Blogs और Websites पर काम कर रहा हूं। आज में आपको बताने जा रहा हूं, How to open and close computer system?

इस आसान तरीके से करें कंप्यूटर को बंद और चालू

हमने इस पोस्ट को आसान से भी आसान तरीके से लिखने की कोशिश की है। हमें पूरा विश्वास है कि इस पोस्ट को पढ़ने के बाद आप Computer System Open and Close करना बहुत ही अच्छे से सीख जाएंगे।
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वैसे कंप्यूटर भी अलग अलग प्रकार के होते हैं। Classification of Computer आप इस लिंक पर क्लिक करके जान सकते हैं। लगभग सभी कंप्यूटर एक जैसे ही Open and Close होते हैं। आगे हम कंप्यूटर को बंद चालू करना बताएंगे।

तो आप इस पोस्ट को पूरा पढ़ें और सीखें कि किसी कंप्यूटर को Open and Close कैसे किया जाता हैं।

How to Open a Computer System?

Computer System Open करने के लिए आपको कुछ बिंदु नीचे दिए गए हैं। जिन्हे Follow करके आप Computer System को Open कर सकते हैं।
  • Switch on Power Supply
  • Switch on UPS
  • Switch on Monitor
  • Switch on CPU
  • After Some Processing Computer System Start and Display Desktop
Computer System को Open करने के लिए उपर बताए गए सभी बिंदुओं को विस्तार से समझते हैं।

1. Switch on Power Supply
Computer System Open करने के लिए सबसे पहले आपको अपने Switch Board की Power Supply को On करना होगा। मतलब कि आपने जिस बिजली के बोर्ड में कंप्यूटर के प्लग को लगाया है उसकी Switch को चालू करना होगा। 
Switch on Power Supply

2. Switch on UPS
इसके बाद आपको अपने कंप्यूटर के UPS को चालू करना होगा। हर एक कंप्यूटर में Power Backup के लिए एक UPS दिया होता है। कुछ कंप्यूटर में ये नही भी हो सकता है। अगर आपके कंप्यूटर में नही है तो आप इसको रहने दीजिए।
Switch on UPS

3. Switch on Monitor
इसके बाद आपको अपने कंप्यूटर के Monitor को चालू करना होगा। Monitor को चालू करने के लिए उसमे एक बटन दिया होता है। जिसको दबाकर आप Monitor को चालू कर सकते है।
Switch on Monitor

4. Switch on CPU
इसके बाद आपको अपने कंप्यूटर के CPU को चालू करना होगा। CPU चालू करने के लिए उसमे एक बटन होता है जो आपको दबाना होगा।
Switch on CPU

5. After Some Processing Computer System Start and Display Desktop
जैसे ही आप इन सभी को चालू करेंगे तो आपको कंप्यूटर बहुत थोड़ा सा समय लेगा और उसके बाद Open हो जाएगा और आपके Monitor में Desktop दिखने लग जायेगी।
Computer Open

बधाई हो🎉अब आपका Computer System Open हो गया है, अब आप इसको चला सकते हैं।

How to Close a Computer System

Computer System Close करने के लिए आपको कुछ बिंदु नीचे दिए गए हैं। जिन्हे Follow करके आप Computer System को Close कर सकते हैं।
  • Go to Windows
  • Click on Switch off
  • Switch off Monitor
  • Switch off UPS
  • Switch off CPU
  • Switch off Power Supply
Computer System को Open करने के लिए उपर बताए गए सभी बिंदुओं को विस्तार से समझते हैं।

1. Go to Windows
Computer System को Close करने के लिए सबसे पहले आपको अपने Monitor Screen में Window पर जाना होगा और उस पर क्लिक करना होगा। Window आपको Monitor Screen में Left Side में नीचे की तरफ मिलेगी।
Go to Windows

2. Click on Switch off
अब आपको Switch off पर क्लिक करना होगा। यहां अगर आप Arrow पर क्लिक करेंगे तो आपको Switch user, Log off, Lock, Restart, Sleep, आदि Option भी मिलते है, लेकिन आपको सिर्फ Switch Off पर ही क्लिक करना हैं।
Switch off

3. Switch off Monitor
इसके बाद आपको अपने Monitor को उसमे दिए गए बटन से बंद कर देना है। 

4. Switch off UPS
इसके बाद आपको अपने UPS को Switch Off कर देना है।

5. Switch off CPU
इसके बाद आपको अपने CPU को Switch off कर देना है। 

6. Switch off Power Supply
अब आपको अपने मुख्य बोर्ड की Power Supply को बंद कर देना हैं।

Note:- आप अपने Direct मुख्य बोर्ड की Power Supply का Switch Off करके भी Computer System को बंद कर सकते हैं।

लेकिन ऐसी गलती कभी भी मत करना, क्योंकि ऐसा करने से आपके कंप्यूटर की File and Data, Delete or Crupt हो सकता है।

Conclusion:- हमने इस पोस्ट में बहुत अच्छी तरह बता दिया है कि आप अपने Computer System को Open and Close कर सकते हैं। 

अगर इस पोस्ट से आपको मदद मिली हो तो अपने दोस्तो में पोस्ट को जरूर शेयर करें।

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What is Keyboard in Hindi | Keyboard Me Kitni Keys Hoti Hai | Keyboard Full Tricks

What is Keyboard

कीबोर्ड क्या है। इसे कैसे प्रयोग करते हैं। तथा इसमें किस तरह की कुंजियां होती हैं तथा उनके क्या क्या कार्य होते हैं। यह सब हम इस पोस्ट में आपको बताएंगे।

आप हमारी इस पोस्ट को अंत तक पढ़ते रहें तथा सभी कुंजियों को ध्यान से समझें। हमें उम्मीद है कि आपको यह पोस्ट बहुत ही पसंद आएगी।

Keyboard Kya Hai

कीबोर्ड सबसे महत्वपूर्ण इनपुट डिवाइस है। इससे कंप्यूटर में डाटा या सूचना इनपुट कराई जाती हैं। यह टाइपराइटर के समान होता है।

Keyboard Me Kitni Keys Hoti Hai

कीबोर्ड में कुल 104 कुंजियां होती है। इसमें कुंजियों (Keys) को दबाकर कोई भी Text, जैसे- शब्द, संख्याएं और अनेक तरह के चिन्ह टाइप किए जा सकते हैं।

कीबोर्ड में विभिन्न प्रकार की कुंजियां होती हैं, जो नीचे लिखी गई हैं। हम इन कुंजियों को नीचे विस्तारपूर्वक बता रहे हैं। तो आप इन्हें ध्यान से पढ़िए और समझिए।

"कीबोर्ड एक इनपुट डिवाइस है। जो मनुष्य द्वारा दिए गए डेटा तथा निर्देशों को कंप्यूटर में प्रवेश कराता है।"

वैसे तो कंप्यूटर में बहुत सी इनपुट Devices होती हैं परंतु कीबोर्ड उन सब में से एक बहुत ही महत्वपूर्ण इनपुट डिवाइस है। कीबोर्ड के बिना कंप्यूटर को चलाना नामुमकिन है तो आइए समझते हैं कीबोर्ड की सभी कुंजियों  के बारे में कि वह कैसे प्रयोग में लाई जाती हैं तथा उनका क्या क्या प्रयोग है।

सबसे पहले तो आप यह समझ ले कि इनपुट डिवाइस होती क्या है। इनपुट डिवाइस वह डिवाइस होती है जिनका कार्य

  • यूजर द्वारा दिए गए डाटा को कंप्यूटर सिस्टम को उपलब्ध कराना
  • यूजर द्वारा दिए गए निर्देशों को प्राप्त करना
  • यूजर  द्वारा दिए गए कमांडो को प्राप्त करना
यह सभी इनपुट डिवाइस के कार्य होते हैं।

मुख्य इनपुट युक्तियां, कीबोर्ड, माउस, जॉय स्टिक, स्कैनर, लाइट पेन, वीडियो कैमरा, वेब कैमरा, वॉइस रिकॉग्निशन, ऑप्टिकल मार्क रीडर आदि हैं।

कीबोर्ड की सभी कुंजियां तथा उनके कार्य 
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Keyboard 

अल्फाबेट कुंजियां (Alphabet Keys)
Alphabet Keys
Alphabet Keys

इन कुंजियों से अंग्रेजी अल्फाबेट के अक्षर टाइप किया जाते हैं। किसी अल्फाबेट कूंजी को अकेले दबाने पर छोटा अक्षर टाइप होता है तथा शिफ्ट के साथ दबाने पर बड़ा अक्षर टाइप होता है।

नंबर कुंजियां (Number Keys)

अल्फाबेट कुंजियां से ऊपर की पंक्ति में नंबर कुंजियां होती है। इन कुंजियों से 0-9 तक के अंक टाइप किए जाते हैं। नंबर्स टाइप करने के लिए कीबोर्ड में कुंजियों का एक अलग सेट भी होता है जिसे न्यूमैरिक कीपैड (Numeric Key Pad) कहा जाता है।

एस्केप कुंजी (Escape Key) 

इस कुंजी का उपयोग कुछ प्रोग्रामों से बाहर निकलने के लिए किया जाता हैं। यह कुंजी cancel कुंजी की तरह कार्य करती है। 

फंक्शन कुंजियां (Function Keys) 

F1 से F12 तक की कुंजियों को फंक्शन कुंजी कहते हैं। इनका प्रयोग कंप्यूटर में परिभाषित विशिष्ट कार्यों के लिए किया जाता है। इनका कार्य चल रहे प्रोग्राम पर भी निर्भर करता है। 

कर्सर कंट्रोल कुंजियां (Cursor Control Keys) 

इन कुंजियों पर तीर के चिह्न छपे होते हैं। इन कुंजियों से कर्सर को डेस्कटॉप पर कहीं भी ले जाया जा सकता है। किसी तीर की कुंजी को दबाने पर कर्सर उस पर छपे तीर की दिशा में एक स्थान से आगे चला जाता है, जैसे - ⬇ कुंजी को दबाने पर कर्सर एक लाइन नीचे की ओर चला जाएगा और ➜ कुंजी को दबाने पर कर्सर एक स्थान से दाईं ओर चला जाएगा।

न्यूमेरिक कुंजिया (Numeric Key) 
Numeric Keys
Numeric Keys

यह कीबोर्ड के दाएं भाग में कुंजियों का एक विशेष समूह होता है, जिससे केवल न्यूमैरिक डाटा तैयार किया जाता है। इस कीपैड का स्वरूप एक साधारण इलेक्ट्रॉनिक केलकुलेटर की तरह होता है।

हम कंप्यूटर में जो डाटा भरते हैं, उसमें लगभग 90% डाटा न्यूमेरिक होता है। इस पर हम केवल एक हाथ से numeric डाटा टाइप कर सकते हैं। इसको चालू करने के लिए Num-Lock बटन ON होना चाहिए।

कंट्रोल कुंजी (Control Key) 

इस कुंजी का उपयोग कुछ विशेष आदेश देने के लिए अन्य कुंजियों के साथ किया जाता है।
उदाहरण के लिए, Windows में कंट्रोल कुंजी (Ctrl) के साथ C कुंजी या Ctrl+C दबाने पर कोई चुनी हुई चीज या वस्तु Clip board में Copy हो जाती है।

कंट्रोल कुंजियों का उपयोग इसी प्रकार विभिन्न शॉर्टकट आदेश देने के लिए किया जाता है। 

आल्ट कुंजी (Alt Key) 

इस कुंजी का उपयोग भी कंट्रोल कुंजी की तरह कुछ शॉर्टकट आदेशों में किया जाता है।

एंटर कुंजी (Enter Key) 

इसका उपयोग किसी प्रोग्राम को चुनने के बाद उसमें प्रवेश करने के लिए किया जाता है। एमएस वर्ड में एंटर दबाने पर आदेश कंप्यूटर को भेज दिया जाता है। 

शिफ्ट कुंजियां (Shift Keys) 

इन कुंजियों का उपयोग टाइप करते समय अक्षरों को बड़ा टाइप करने के लिए किया जाता है, यदि किसी कुंजी पर दो चिन्ह छपे हैं तो शिफ्ट के साथ दबाने पर ऊपर का चिन्ह टाइप होता है। Keyboard पर दो शिफ्ट कुंजी होती हैं।

बैक स्पेस कुंजी (Backspace Key) 

इसे दबाने पर कर्सर से बाईं ओर का टेक्स्ट मिट (Delete) जाता है। 

कैप्स लॉक कुंजी (Caps Lock Key)

इस कुंजी को चालू करने के लिए कुंजी को एक बार दबाना पड़ता है, तथा बंद करने के लिए एक बार फिर दबाना पड़ता है। इस कुंजी को चालू कर देने के बाद अल्फाबेट शब्द बड़े लिखे जाते हैं। इस कुंजी का प्रभाव केवल अल्फाबेट कुंजियां पर ही पड़ता है।

प्रिंट कुंजी (Print Key) 

कीबोर्ड पर कंट्रोल तथा P कुंजी या Ctrl+P दबाने पर उस समय कंप्यूटर पर चल रहे एप्लीकेशन का जो भी डाटा होता है। वह प्रिंट होने के लिए प्रिंटर को भेज दिया जाता है।

जैसे एमएस वर्ड में यदि हम कोई डाक्यूमेंट्स बना रहे हो तो हम कंट्रोल तथा P या Ctrl+P  कुंजी को दबाकर उस डाक्यूमेंट्स को प्रिंट कर सकते हैं।

PrtScr Key (Partscreen Key)

इस कुंजी का प्रयोग करके कंप्यूटर में चल रहे किसी भी प्रोग्राम का Screenshot ले सकते हैं। यह कुंजी वहां पर ज्यादा काम आती है।

जब हम कंप्यूटर में कोई विशेष कार्य कर रहे होते हैं या फिर हम टाइपिंग कर रहे होते हैं तथा हमें अपनी टाइपिंग स्पीड का रिकॉर्ड रखना होता है, तो हम इस कुंजी को दबाकर उसका स्क्रीनशॉट ले लेते हैं और हम किसी भी एप्लीकेशन को चलाते समय इस कुंजी का उपयोग करके उस का स्क्रीनशॉट ले सकते हैं।

❤हमारी इस पोस्ट को पूरा पढ़ने के लिए आपका वहुत वहुत धन्यवाद !
मैं आशा करता हूँ कि आपको हमारी यह पोस्ट वहुत पसन्द आयी होगी।
तो आपको हमारी यह पोस्ट कैसी लगी हमे कमेंट करके जरूर बताएं
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What is Computer - कंप्यूटर क्या है

What is Computer

आप कंप्यूटर के बारे में जानकारी चाहते हैं, तो हमारे इस Blog में आपको कंप्यूटर के बारे में पूरी जानकारी मिलेगी।

इस Lesson में आपको पता चलेगा कि कंप्यूटर क्या है? कंप्यूटर की फुल फॉर्म क्या है? कंप्यूटर के प्रकार और कंप्यूटर के विभिन्न भागों के बारे में आपको पूरी जानकारी मिलेगी।

जब आप कंप्यूटर का नाम सुनते हैं तो सैकड़ों विचार दिमाग में आते हैं। क्योंकि कंप्यूटर अकेले सैकड़ों गतिविधियों को कर सकता है। हाँ, सैकड़ों! कंप्यूटर को परिभाषित करना थोड़ा मुश्किल है। ऐसा इसलिए है क्योंकि प्रत्येक व्यक्ति विभिन्न कार्यों के लिए कंप्यूटर का उपयोग करता है।

यदि आप एक लेखक से पूछते हैं कि कंप्यूटर क्या है? तो उसने शायद कहा होगा कि कंप्यूटर एक प्रकार की मशीन है। यही कारण है कि हम कह सकते हैं कि कंप्यूटर किसी भी अर्थ में नहीं बनाया जा सकता है। 

प्रत्येक व्यक्ति के उपयोग के आधार पर कंप्यूटर का अर्थ अलग है। भले ही कंप्यूटर का इतना अर्थ है, हमने आपके लिए कंप्यूटर को परिभाषित करने का प्रयास किया है। 

आप कंप्यूटर की प्रमाणित परिभाषा के रूप में इस कंप्यूटर की परिभाषा नहीं ले सकते हैं। क्योंकि कंप्यूटर का अर्थ भी काम के आधार पर बदलता है।

Definition of Computer 


“Computer एक मशीन है जो कुछ निश्चित निर्देशों के अनुसार काम को पूरा करती है 
या 
"कंप्यूटर एक इलेक्ट्रॉनिक मशीन है जो हमारे द्वारा दिए गए निर्देशों को हमारी समझने योग्य भाषा में बदलती है" 

कंप्यूटर एक अंग्रेजी शब्द है। कंप्यूटर का अर्थ हिंदी में "गणना" है। इसका मतलब है कि कंप्यूटर एक कैलकुलेटर है। लेकिन, यह कहना गलत होगा कि कंप्यूटर एक Calculate मशीन है। क्योंकि कंप्यूटर जोड़ने के अलावा सैकड़ों अलग-अलग कार्य भी करता हैं।

तो आज भी, हम एक परिभाषा में कंप्यूटर को बांधने में सक्षम नहीं हैं। विभिन्न लोगों और संगठनों ने कंप्यूटर पूर्ण फॉर्म का वर्णन किया है। लेकिन, इनमें से कोई भी मानक पूर्ण रूप नहीं है। हमने आपको नीचे कंप्यूटर का पूरा रूप दिया है। जो काफी लोकप्रिय और सार्थक है। 

C      ----     Commonly
O      ----     Operated
M      ----     Machine
P       ----     Particularly
U      ----     Used for
T       ----    Technical
E      ----     Education and
R      ----     Research

Means,
Commonly Operated Machine Particularly Used for Technical Education and Research 

यही है, सामान्य स्वचालित मशीन विशेष रूप से प्रौद्योगिकी शिक्षा और अनुसंधान में उपयोग की जाती है।

कंप्यूटर के प्रकार


कंप्यूटर के तीन मुख्य प्रकार हैं।
1.     अनुसंधान (Application)
2.     उद्देश्य (Purpose)
3.     आकार (Size)

कंप्यूटर का परिचय

कंप्यूटर अकेले अपना काम नहीं कर सकता है। कंप्यूटर एक कार्य करने के लिए विभिन्न प्रकार के Hardware and Software की मदद लेता है। आप अगले पाठ में इन कंप्यूटर घटकों और कार्यक्रमों के बारे में जान सकते हैं। एक आम कंप्यूटर इस तरह दिखता है।

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what is computer in hindi

जिस कंप्यूटर को आप ऊपर देख रहे हैं उसे 'डेस्कटॉप कंप्यूटर' कहा जाता है। इस प्रकार का कंप्यूटर वर्तमान समय में अधिक लोकप्रिय है। इस तस्वीर में आप कई अलग-अलग टूल्स देखेंगे, वे सभी कंप्यूटर मशीन बनाते हैं। आइए इन उपकरणों के बारे में संक्षेप में जानें।

1.          System Unit/ CPU

CPU, Mother Board, System Box
मदर बोर्ड या CPU

सिस्टम यूनिट एक ऐसा बॉक्स है जिसमें कंप्यूटर अपने कार्य करने के लिए आवश्यक उपकरण से लैस है। सिस्टम यूनिट को 'सीपीयू' भी कहा जाता है। इसमें Mother Board, Processor इत्यादि Parts होते है, जो कंप्यूटर को काम करने में help करते है। इसे केस भी कहा जाता है।

2.          Monitor

Monitor, LCD, LED
Monitor

Monitor एक आउटपुट टूल है जो हमें दिए गए निर्देशों के परिणाम दिखाता है। यह बिल्कुल टीवी की तरह है। वर्तमान में, मॉनिटर्स को LCD और LED द्वारा प्रतिस्थापित किया गया है।

3.          Keyboard

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Keyboard

कीबोर्ड एक इनपुट डिवाइस है जिसका उपयोग कंप्यूटर को निर्देश देने के लिए किया जाता है। इसकी सहायता कंप्यूटर को वांछित डेटा और निर्देश दिया जाता है। Keyboard में विभिन्न प्रकार की keys होती हैं, Keys के माध्यम से डेटा और निर्देश कंप्यूटर में भेजें जाते हैं। 

4.     4.  .  Mouse

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Mouse


Mouse एक इनपुट डिवाइस है जो कंप्यूटर को निर्देश देने के लिए होता है। हम इसकी help से कंप्यूटर में उपलब्ध कार्यक्रम का चयन करते हैं।

5.   Speakers

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Spekers

स्पीकर एक आउटपुट टूल हैं जो हमें कंप्यूटर से आवाज सुनने में मदद करता है। इनके माध्यम से, हम गानों, फिल्मों, कार्यक्रमों और खेलों आदि में ध्वनि सुनते हैं।


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Classification of Computer

कंप्यूटर का वर्गीकरण

Classification of Computer

कंप्यूटर को उनकी रूपरेखा, कामकाज, उद्देश्य इत्यादि के आधारों पर विभिन्न वर्गों में विभाजित किया जा सकता है।                   
  1. आकार के आधार पर (On the Basis of Size)
  2. उद्देश्यों के आधार पर (On the Basis of Purpose)
  3. अनुप्रयोग के आधार पर (On the Basis of Applications)

आकार के आधार पर (On the Basis of Size)

आकार के आधार पर कंप्यूटर पांच प्रकार के होते हैं।  जिनका संक्षिप्त विवरण नीचे दिया गया है। 

  1. माइक्रो कंप्यूटर (Micro Computer)

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Micro Computer

यह कंप्यूटर इतने छोटे होते हैं कि इन्हें डेस्क पर सरलता पूर्वक रखा जा सकता है। आधुनिक युग में माइक्रो कंप्यूटर फोन के आकार, पुस्तक के आकार तथा घड़ी के आकार तक में उपलब्ध हैं।

इनकी क्षमता लगभग एक लाख क्रियाएं प्रति सेकंड होती है। इन कंप्यूटरों का उपयोग ज्यादातर व्यवसाय तथा चिकित्सा के क्षेत्र में किया जाता है। आजकल यह सभी PC की श्रेणी में आते हैं। 
उदाहरण :-  APPLE MAC, iMAC, इत्यादि।

माइक्रोकंप्यूटर कई प्रकार के होते हैं।
(i) डेस्कटॉप कंप्यूटर (Desktop Computer)⇒ 

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Desktop Computer

यह पर्सनल कंप्यूटर का सबसे ज्यादा उपयोग होने वाला रूप है। ज्यादातर घरों और व्यापारिक स्थानों पर आपको बेस्ट टॉप ही मिलेंगे, क्योंकि यह सस्ते, मजबूत और ज्यादा चलने वाले होते हैं।

(ii) लैपटॉप (Laptop)
Laptop, Computer
Laptop

कुछ ही वर्षो में हुए तकनीकी विकास ने माइक्रो कंप्यूटर का आकार इतना छोटा कर दिया है कि उन्हें सरलता पूर्वक इधर उधर ले जाया जा सकता है और साधारण व्यक्ति भी इनकी खरीदारी कर सकता है। लैपटॉप को कभी-कभी नोटबुक भी कहा जाता हैं।

(iii) टैबलेट पर्सनल कंप्यूटर (Tablet Personal Computer)⇒
Tablet, Mobile, Laptop
Tablet

टैबलेट और लैपटॉप एक तरह से समान है, परंतु टेबलेट PC कंप्यूटर से ज्यादा सुविधाजनक है। यह दोनों ही पोर्टेबल हैं, परंतु परंतु इन में प्रयोग होने वाले सॉफ्टवेयर, स्क्रीन आदि से ये भिन्न हो जाते हैं। टैबलेट PC की पर स्क्रीन पर यूजर बिना कीबोर्ड की सहायता से लिख सकते हैं, परंतु नोटबुक पर नहीं लिख सकते हैं।

(iv) पॉमटॉप (Palmtop)
Palmtop computer
Palmtop 

यह लैपटॉप की तरह पोर्टेबल पर्सनल कंप्यूटर है। यह लैपटॉप से भी छोटा और हल्का होता है। यह हेंडलेड प्रणाली का इस्तेमाल करता है। 

(v) वर्कस्टेशन (Workstation)
Workstation, Computer
Workstation 

यह अभियांत्रिकी, तकनीकी और ग्राफ़िक्स के कार्यो के साथ - साथ कंप्यूटर के एकल व्यक्ति के साथ पारस्परिक व्यवहार में भी प्रयोग होता है।   

       2. मिनी कंप्यूटर (Mini Computer)
Mini-Computer, Computer
Mini Computer

मध्यम आकार के इन कंप्यूटर की कार्य क्षमता तथा कीमत दोनों ही माइक्रो कंप्यूटर की तुलना में अधिक होती हैं। जिस कारण यह व्यक्तिगत प्रयोग में नहीं लाए जाते हैं।

इस प्रकार के कंप्यूटरों पर एक या एक से अधिक व्यक्ति एक समय में एक से अधिक कार्य कर सकते हैं। इनका उपयोग छोटी या मध्यम स्तर की कंपनियां करती हैं। इनकी गति 10 से 30 MIPS (Mega Instructions Per Second) होती हैं।
उदाहरण :-  HP 9000, RISC 6000, AS 400 इत्यादि।

       3. मेनफ्रेम कंप्यूटर (Mainframe Computer) 
Mainframe-computer,Computer
Mainframe Computer
 

यह कंप्यूटर आकार में अत्यधिक बड़े होते हैं। इन कंप्यूटरों की कार्य क्षमता और कीमत भी मिनी तथा माइक्रो कंप्यूटर से अधिक होती है। इन कंप्यूटर का उपयोग बड़ी कंपनियों या सरकारी विभागों में ही किया जाता है।

इन कंप्यूटर का उपयोग भुगतान का ब्यौरा रखने, दिलों को भेजने कर्मचारियों का भुगतान करने आदि में किया जाता है।
उदाहरण :-  IBM 4381, ICL 39, UNIVAC 1110 आदि।

       4. सुपर कंप्यूटर (Super Computer)   
Super-computer, Computer
Super Computer

सुपर कंप्यूटर सबसे अधिक गति वाली तथा सबसे अधिक मेमोरी रखने वाले होते हैं। इनका आकार एक सामान्य कमरे के बराबर होता है। भारत के पास भी सुपर कंप्यूटर है तथा भारत के प्रथम सुपर कंप्यूटर का नाम 'परम' (PARAM) हैं। इसका विकास C-DAC ने किया था।

सुपर कंप्यूटर का मुख्य उपयोग मौसम की भविष्यवाणी करने, एनिमेशन तथा चलचित्र का निर्माण करने, अंतरिक्ष यात्रा के लिए अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरिक्ष में भेजने, बड़ी वैज्ञानिकी और शोध प्रयोगशालाओं में शोध व खोज करने आदि कार्यों में किया जाता है। 
उदाहरण :-   PARAM, PARAM-10000, CRAY -1, CRAY -2, NEC-500 आदि।

उद्देश्यों के आधार पर (On the Basis of Purpose)

उद्देश्यों के आधार पर कंप्यूटर दो प्रकार के होते हैं, जिनको नीचे बताया गया है।

1. सामान्य उद्देश्य कंप्यूटर (Genral PurposeComputer)

सामान्य उद्देश्य को पूरा करने के लिए इन कंप्यूटर का प्रयोग किया जाता है। इनके द्वारा दस्तावेज तैयार किए जाते हैं उन्हें छापने डाटा बेस बनाने तथा शब्द प्रक्रिया द्वारा पत्र तैयार करने आदि कार्य किए जाते है।

2. विशिष्ट उद्देश्य कंप्यूटर (Special Purpose Computer)

विशिष्ट उद्देश्य की पूर्ति के लिए इन कंप्यूटरों का प्रयोग किया जाता है। इनका उपयोग अंतरिक्ष विज्ञान, मौसम विज्ञान, उपग्रह संचालन, यातायात नियंत्रण, कृषि विज्ञान इंजीनियरिंग भौतिक तथा रासायनिक विज्ञान में शोध उपग्रह संचालन इत्यादि क्षेत्रों में विशिष्ट उद्देश्यों के लिए किया जाता है। इसमें प्रयोग किए गए सीपीयू की क्षमता अधिक तेज होती है।

अनुप्रयोग के आधार पर (On the Basis of Applications)

अनुप्रयोग के आधार पर कंप्यूटर तीन प्रकार के होते हैं। जिन्हें नीचे दिया गया है।

1. एनालॉग कंप्यूटर (Analog Computer)
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Analog Computer

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Speedometer

भौतिक मात्राओं जैसे- तापमान, दाब, लंबाई आदि को मापकर उनके परिणाम को अंको में प्रस्तुत करने के लिए एनालॉग कंप्यूटर का उपयोग किया जाता है, क्योंकि यह कंप्यूटर मात्राओं को अंको में प्रस्तुत करते हैं। इसलिए इनका उपयोग विज्ञान और इंजीनियरिंग क्षेत्रों में अधिक किया जाता है। 

उदाहरण : स्पीडोमीटर, भूकंप सूचक यंत्र आदि। 

2. डिजिटल कंप्यूटर (Digital Computer)
Digital-computer,
Digital Computer

अंको की गणना करने के लिए डिजिटल कंप्यूटर का उपयोग किया जाता है। अब अधिकतर कंप्यूटर डिजिटल कंप्यूटर की श्रेणी में ही आते हैं। यह इनपुट किए गए डेटा और प्रोग्राम स्कोर 0 और 1 में परिवर्तित करके इन्हें इलेक्ट्रॉनिक रूप में प्रस्तुत करते हैं।

डिजिटल कंप्यूटर का उपयोग व्यापार में, घर के बजट में किया जाता है।
उदाहरण : डेस्कटॉप कंप्यूटर, लैपटॉप आदि।

3. हाइब्रिड कंप्यूटर (Hybrid Computer)
Hybrid-computer,computer
Hybrid Computer

हाइब्रिड कंप्यूटर उन कंप्यूटरों को कहा जाता है जिनमें एनालॉग तथा डिजिटल दोनों ही कंप्यूटर के गुण शामिल होते हैं अर्थात एनालॉग तथा डिजिटल के मिश्रित रूप को हाइब्रिड कंप्यूटर कहा जाता है।

इसके द्वारा भौतिक मात्राओं को अंको में परिवर्तित करके उसे डिजिटल रूप दिखाते हैं।
उदाहरण : ECG और DIALYSIS मशीन।

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